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गुरुवार, मार्च 15, 2018

भ्रष्टाचार के खिलाफ उठाई आवाज, निलंबन मिला उपहार

रिपोर्ट - बिजनौर /उत्तर प्रदेश (विभोर कौशिक)

जी हां जिला विद्यालय निरीक्षक कार्यालय बिजनौर में भ्रष्टाचार से तंग आ चुके एक सिपाही ने जब आवाज उठाई तो उसे निलंबित कर दिया गया। सिपाही ने डीआईओएस कार्यालय में जमकर हंगामा किया। लगभग 2 वर्ष पूर्व सिपाही की पुत्री का चयन कन्या विद्या धन के लिए किया गया था जो राशि आज तक उसे नहीं मिल सकी है। सिपाही का आरोप है की डीआईओएस कार्यालय के बाबू ने चेक देने के बदले उससे कमीशन की मांग की थी। बुधवार को जब सिपाही डीआईओएस कार्यालय पहुंचा डीआईओएस ने सिपाही के नशे में होने की बात कहते हुए SP को फोन पर सूचना दे दी। पुलिस अधीक्षक के आदेश पर सिपाही का मेडिकल कराया गया जिसमें सिपाही के शराब पीने की तो पुष्टि हुई परंतु वह होशो हवास में था तथा सामान्य रूप से बात कर रहा था। पुलिस अधीक्षक द्वारा सिपाही को अनुशासनहीनता के आरोप में सस्पेंड कर दिया गया है।

निलंबित किया गया सिपाही कंचन सिंह नूरपुर में तैनात है। वर्तमान में उसकी ड्यूटी हवालात में चल रही है। बुधवार को सिपाही कंचन सिंह जिला विद्यालय निरीक्षक कार्यालय पहुंचा। कंचन सिंह का कहना है कि उसकी पुत्री प्रियंका ने धामपुर स्थित लाला केदारनाथ इंटर कॉलेज से इंटर की परीक्षा उत्तीर्ण की थी। वर्ष 2016 में उसकी पुत्री का चयन कन्या विद्या धन के लिए किया गया। जिसके तहत उसे रुपए 30,000 मिलने थे। कंचन सिंह के अनुसार उसने सभी आवश्यक प्रपत्र जिला विद्यालय निरीक्षक कार्यालय में जमा करा दिए थे। बार बार चक्कर लगाने पर एवं शिकायत करने पर भी संबंधित बाबू दिनेश भंडारी ने उसके किसी प्रार्थना पत्र पर कोई ध्यान नहीं दिया। कन्या विद्याधन की राशि उसके पुत्र के खाते में हस्तांतरित नहीं की गई है। बुधवार को जब वह डीआईओएस कार्यालय पहुंचा तो बाबू ने उससे कमीशन की मांग की इसी बात को लेकर दोनों में कुछ कहासुनी हो गई। बाबू दिनेश भंडारी का कहना है कि कंचन सिंह ने शराब पी रखी थी तथा उसने कार्यालय में अच्छा खासा हंगामा किया तथा गाली गलौज पर उतर आया। इसी बीच डीआईओएस राजेश सिंह ने पुलिस अधीक्षक को फोन कर सिपाही के नशे में होने तथा कार्यालय में हंगामा करने की सूचना दे दी। पुलिस अधीक्षक प्रभाकर चौधरी के आदेश पर पहुंची पुलिस ने आरोपी सिपाही को हिरासत में लिया तथा उसका चिकित्सकीय परीक्षण कराया। इमरजेंसी कक्ष में तैनात चिकित्सक के अनुसार कंचन सिंह ने शराब पी हुई थी परंतु वह सामान्य रूप से बातचीत कर रहा था तथा उसकी हरकतें भी सामान्य थी। एसपी प्रभाकर चौधरी ने तत्काल प्रभाव से अनुशासनहीनता के आरोप में सिपाही कंचन सिंह को निलंबित कर दिया है।

जिला विद्यालय निरीक्षक में तै बाबू दिनेश भंडारी का कहना है कि दिया गया खाता नंबर गलत होने के कारण सिपाही की पुत्री के खाते में धनराशि नहीं पहुंच सकी थी तथा वापस आ गई थी सिपाही की शिकायत पर 9 मार्च को पुनः चेक काट दिया गया था। सिपाही कार्यालय में आकर उनसे नहीं मिला। बुधवार को यह कार्यालय आया तथा हंगामा और गाली गलौज करने लगा जिसकी सूचना पुलिस अधीक्षक को दी गई थी।